Tata Mutual Fund: देश के प्रमुख म्यूचुअल फंड हाउसों में शुमार Tata Mutual Fund ने लंबे समय से निवेशकों के विश्वास को बनाए रखा है। खास तौर पर Tata Midcap Growth Fund ने ऐसा प्रदर्शन किया है जो निवेश की ताकत को बखूबी दर्शाता है।
अगर कोई निवेशक इस फंड में ₹1000 की मासिक SIP 30 वर्षों तक करता तो वह आज करोड़पति बन चुका होता। अभी Tata Mutual Fund के बारे मेंकाफी कम लोगो को जानकारी है। आज हम आपको इस फडं के बारे में विस्तार से जानकारी देने वाले है। इसलिए इस आर्टिकल को पूरा पढ़े।
30 साल से चल रहे भरोसेमंद फंड
Tata Mutual Fund के दो फंड Tata Large and Mid Cap Fund और Tata Midcap Growth Fund निवेश की दुनिया में पुराने और स्थिर विकल्पों के रूप में देखे जाते हैं।
पहला फंड 31 मार्च 1993 को और दूसरा फंड 1 जुलाई 1994 को लॉन्च किया गया था। इन दोनों योजनाओं ने समय के साथ एक मजबूत ट्रैक रिकॉर्ड स्थापित किया है और खासकर Tata Midcap Growth Fund ने निवेशकों को भारी रिटर्न दिया है।
Tata Midcap Growth Fund का निवेश और रिटर्न
बात की जाए निवेश और रिटर्न की तो इस फंड का अधिकांश निवेश लगभग 91.36%, भारतीय इक्विटी यानी घरेलू शेयर बाजार में किया गया है।
इसमें से 14.43% हिस्सा बड़े कंपनियों (large-cap), 46.52% मझोले कंपनियों (mid-cap) और 14.58% छोटे कंपनियों (small-cap) में लगाया गया है। इसका उद्देश्य है निवेशकों को मध्यम से लंबी अवधि में पूंजी में बढ़ोतरी और नियमित आय दोनों प्रदान करना।
यह फंड जुलाई 1994 से लेकर अब तक औसतन 13.23% का रिटर्न दे चुका है। मौजूदा समय में इस फंड के पास 4,505 करोड़ रुपये की एसेट्स अंडर मैनेजमेंट (AUM) है।
अगर हम 10 वर्षों की बात करें तो फंड ने लगभग 14.91% का वार्षिक रिटर्न दिया है वहीं 20 सालों की अवधि में यह आंकड़ा बढ़कर 16.51% हो गया है।
SIP के जरिये निवेश करने वालों को भी यह फंड निराश नहीं करता। अगर कोई निवेशक लगातार 30 वर्षों तक हर महीने ₹1000 की SIP करता तो उसे लगभग 17.92% वार्षिक रिटर्न मिला होता और उसकी निवेश राशि बढ़कर ₹1.02 करोड़ हो जाती।
एकमुश्त निवेश से मिला भारी लाभ
अब अगर कोई निवेशक 30 साल पहले इस फंड में ₹1 लाख का एकमुश्त निवेश करता तो उस रकम का मूल्य आज ₹41.58 लाख हो गया होता। यानी उसे कुल ₹40.58 लाख का मुनाफा होता।
यह आंकड़ा दिखाता है कि धैर्य और सही योजना से किस तरह मामूली रकम भी एक बड़ी संपत्ति में बदल सकती है। Tata Mutual Fund के इस मिडकैप फंड में उतार-चढ़ाव का स्तर यानी स्टैंडर्ड डेविएशन 16.02% है जो इसे मध्यम अस्थिर फंड की श्रेणी में रखता है।
इसका मतलब है कि रिटर्न में थोड़ी बहुत गिरावट और बढ़ोतरी होती रहती है लेकिन यह ज्यादा चिंताजनक नहीं होती। शार्प अनुपात 0.77 होने का अर्थ है कि यह फंड अच्छे रिस्क-एडजस्टेड रिटर्न देता है हालांकि यह सबसे अधिक नहीं है।
बीटा का स्तर 0.91 होने से यह स्पष्ट होता है कि फंड व्यापक बाजार की तुलना में थोड़ा कम अस्थिर है। हालांकि अल्फा -1.14 पर है जो यह दिखाता है कि फंड ने बेंचमार्क के मुकाबले थोड़ा कमजोर प्रदर्शन किया है।
इन कंपनियों में है सबसे ज्यादा निवेश
इस फंड ने कुछ चुनी हुई कंपनियों में सबसे अधिक निवेश किया है। इनमें सबसे पहला नाम मैक्स फाइनेंशियल सर्विसेज का है जिसमें लगभग 3.77% की हिस्सेदारी है।
इसके अलावा एल्केम लैबोरेट्रीज़ में 3.07%, जुबिलेंट फूडवर्क्स में 2.86%, ल्यूपिन में 2.79% और अरबिंदो फार्मा में 2.73% का निवेश किया गया है। ये सभी कंपनियां अपने-अपने क्षेत्र में मजबूत स्थिति रखती हैं और इसीलिए फंड ने इनमें भरोसा दिखाया है।
किन लोगों को करना चाहिए निवेश
जो निवेशक लंबी अवधि में निवेश करने का लक्ष्य रखते हैं यानी कम से कम 3 से 4 साल तक का धैर्य रख सकते हैं और उच्च रिटर्न की तलाश में हैं उनके लिए यह फंड एक अच्छा विकल्प साबित हो सकता है।
हालांकि यह याद रखना जरूरी है कि किसी भी फंड का पिछला प्रदर्शन भविष्य की गारंटी नहीं होता। इसलिए किसी भी प्रकार का निवेश निर्णय लेने से पहले हमेशा सेबी-पंजीकृत वित्तीय सलाहकार से सलाह लेना बेहद जरूरी है।
Tata Mutual Fund के Tata Midcap Growth Fund ने यह साबित कर दिया है कि छोटे-छोटे निवेश भी समय के साथ बड़ी दौलत में बदल सकते हैं।
यदि आप SIP के माध्यम से लंबी अवधि के लिए निवेश करने की सोच रहे हैं तो यह फंड आपके लिए एक बेहतर विकल्प बन सकता है। लेकिन हर निवेश से पहले जानकारी और समझ जरूरी है।
डिस्क्लेमर: यह लेख केवल जानकारी के उद्देश्य से है। इसे निवेश सलाह के रूप में न लिया जाए। म्यूचुअल फंड निवेश बाजार जोखिमों के अधीन हैं। कृपया निवेश से पहले अपने वित्तीय सलाहकार से सलाह अवश्य लें।